जाने क्या है, सरसों तेल के फायदे व नुकसान।

सरसों का वैज्ञानिक नाम ब्रेसिक्का जूनसा है। इसका स्वाद कड़वा होने के कारण कहीं-कहीं इसे कड़वा तेल भी कहते हैं।अधिकतर लोग सरसों के तेल का उपयोग खाना बनाने में करते हैं। वे लोग इसके गुणों से अंजान है।

इसका प्रयोग केवल तेल समझकर खाना बनाने में ही करते हैं। यह न केवल शरीर को जोड़ों के दर्द से छुटकारा दिलाता है। जबकि कैंसर जैसी खतरनाक बीमारियों मैं औषधि का काम करता है। यह शरीर की मांसपेशियों को मजबूत बनाता है। सरसों तेल के फायदों में से निम्न है, स्किन इंफेक्शन, अंदरूनी दर्द, अस्थमा, कान दर्द, दाँतों का दर्द, से निजात पाया जा सकता हैं। यह सेहत व सुंदरता दोनों के लिए फ़ायदेमंद है।

सरसों तेल के फायदे 

जोड़ों का दर्द – इसमें उपस्थित ओमेगा -3 जो एंटीइफ्लेमेटरी का काम करती है। जो जोड़ों के दर्द से निजात दिलाता है। शरीर को अंदरुनी दर्द से छुटकारा दिलाता है।

वजन कम करने में – यह वजन को कम करने में सहायक है। यह शरीर में मेटाबोलिज्म को बढ़ा देता जिससे वजन कम करने में सहायता मिलती है।

अस्थमा – सरसों के तेल में उपस्थित सेलेनियम जिससे अस्थमा के प्रभाव को कम किया जा सकता है तेल का प्रयोग छाती की मालिश करने में करें। जिससे फेफड़ों में हवा के प्रभाव को बढ़ाया जा सके। जिससे आप को श्वास संबंधित विकार दूर हो जाते हैं।  

भूख बढ़ाता है – सरसों का तेल हमारे शरीर में ऐपेटाइजर का काम करता है जो पाचन तंत्र की समस्या को दूर कर भूख बढ़ाता है।

हृदय की समस्या होती है दूर – इसके उपयोग से हृदय की समस्या दूर होती है। सरसों के तेल में हाइपोकोलेस्ट्रोलेमिक पाया जाता है। जो खराब कोलेस्ट्रोल को खत्म करता है। और अच्छे कोलेस्ट्रॉल के स्तर को बढ़ाता है। जिससे आप को ह्र्दय सम्बंदित बीमारियाँ नहीं होती हैं।

आंखों की समस्या – रात को पैरों की पगथैलियों को सरसों के तेल की मालिश कर लेना चाहिए। इससे आंखों की समस्या दूर होगी।

इम्यूनिटी – सरसों के तेल में रोग प्रतिरोधक क्षमता पाई जाती है। जो हमारी इम्यूनिटी को मजबूत बनाए रखती है।

त्वचा की समस्या – सरसों के तेल की मालिश त्वचा पर करे। जिससे कील, मुंहासे, दाग धब्बे, फंगल से छुटकारा मिलता हैं। यह ब्लड सरकुलेशन को बनाए रखता है। जो आपके शरीर की चमक को बढ़ाता हैं।

सरसों तेल के नुकसान

सरसों के तेल के फायदों में दांतो के दर्द से लेकर बड़े स्तर की बीमारियों को दूर करने में फ़ायदेमंद है। वहीं दूसरी ओर इसका उपयोग जरूरत से ज्यादा करने पर हृदय की बीमारियों से ग्रसित हो सकते हैं ।

  • इस तेल में इरूसिक एसिड पाया जाता है। हृदय को घात पहुंचा सकता है।
  • गर्भवती महिला को सरसों का उपयोग कम करना चाहिए। इसका प्रभाव शिशु पर पढ़ने से यह गर्भपात की समस्या को बढ़ा देता है।
  • इरूसिक एसिड पाए जाने के कारण कैंसर, कोमा जेसी भयंकर प्रॉब्लम पढ़ा जा सकता है।
  • आवश्यकता से अधिक उपयोग होने पर ब्लड प्लेट्स को कम कर देता है। जिसे आरबीसी की कमी होने पर एनीमिया से ग्रसित हो सकते है।
  • लंबे समय तक सरसों का तेल उपयोग करने पर यह दिमाग को नुकसान पहुँचाता है। यह याददाश्त के साथ सीखने की क्षमता को कम कर देता है।

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